बांधवगढ़ टाइगर रिजर्व में वन्य के प्रबंधन का सिस्टम फेल,ग्राम बकेली में चरवाहे को घर में घुसकर बाघ ने किया घायल,तो ग्राम बेल्दी में घर में घुसे तेंदुए को ग्रामीणों ने घर में ही किया कैद,ग्राम मझखेता सहित दर्जनों गांवों में बाघ भालू एवं तेंदुए की दस्तक से दहशत में ग्रामीण,घायल को जिला अस्पताल में कराया गया भर्ती,माह भर में बाघ हमले की दर्जनों वारदात के बाद भी टाइगर रिजर्व प्रबंधन घटनाओं को रोकने में नाकाम।
उमरिया जिले के विश्वप्रसिद्ध बांधवगढ़ टाइगर रिजर्व में बाघ सहित वन्य जीवों के प्रबंधन और मॉनिटरिंग का सिस्टम फेल हो चुका है,रविवार को जहां बाघ ने ग्राम मझखेता में रिहायशी इलाके में घुस गया था वहीं सोमवार रविवार की दरमियानी रात ग्राम बकेली में दूसरे बाघ ने एक किसान के घर में घुसकर उसे घायल कर दिया,बाघ मवेशी के शिकार के फिराक में गांव में घुसा था और घर में सो रहे रामदयाल काछी के ऊपर हमला कर घायल दिया,जानकारी के बाद प्रबंधन की टीम घायल को जिला अस्पताल लेकर पहुंची है जहां उसका इलाज कराया जा रहा है।
इधर घर में घुसे तेंदुए को ग्रामीणों ने किया कैद
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उमरिया के बांधवगढ़ टाइगर रिजर्व से लगे बेल्डी गांव में देर रात एक तेंदुआ किसान के घर में घुस गया किसान गिधु यादव ने घरवालों के साथ मिलकर तेंदुए को घर के कमरे में कैद कर दिया और ग्रामीणों को इकट्ठा कर रात भर घर के बाहर पहरा देते रहे घटना की जानकारी के बाद पार्क की टीम गांव पहुंची और ग्रामीणों को समझाइश दी जिसके बाद ग्रामीणों ने कैद तेंदुए को रिहा किया घर से निकलते ही तेंदुआ जंगल की ओर भाग गया तेंदुए के आतंक से ग्रामीणों में काफी आक्रोस है।
वन्य जीवों का बढ़ा आतंक
बता दें टाइगर रिजर्व की सीमा से लगे गांवों में बीते माह भर में बाघ के हमले से दर्जनों लोग घायल हुए हैं और कइयों की जाना जा चुकी है,लेकिन टाइगर रिजर्व प्रबंधन बाघों को जंगल में ही रोकने में नाकाम है,भारी भरकम फौज के बाद भी बाघों की सतत मॉनिटरिंग का सिस्टम फेल हो चुका है और यही वजह है की टाइगर रिजर्व की सीमा से लगे गांवों में लगातार वन्य जीवों के हमले से ग्रामीण घायल हो रहे हैं और उनकी जान भी जा रही है।
(ब्यूरो रिपोर्ट)
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